फर्रुखाबाद: पुरुष अस्पताल में भर्ती घोटाला उजागर, तत्कालीन CMS और वरिष्ठ सहायक पर गिरी गाज

अपर निदेशक की जांच रिपोर्ट में सामने आई अनियमितताएं, शासन को भेजी गई रिपोर्ट
- मनीष कुमार
फर्रुखाबाद। डॉ. राममनोहर लोहिया पुरुष अस्पताल, फर्रुखाबाद में अनियमित भर्तियों का मामला उजागर हुआ है। जांच में तत्कालीन मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) डॉ. अशोक प्रियदर्शी और वरिष्ठ सहायक गंधर्व सिंह को दोषी पाया गया है। अपर निदेशक, चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण, कानपुर द्वारा की गई जांच में पाया गया कि दोनों अधिकारियों ने शासन के 26 नवंबर 2024 के आदेशों का उल्लंघन करते हुए 16 पदों पर अवैध रूप से भर्तियां की थीं।
एनर्जी संस्था के माध्यम से की गईं नियुक्तियां
रिपोर्ट के अनुसार, अवनी परिधि एनर्जी संस्था के माध्यम से 5 मार्च से 10 अगस्त 2025 के बीच वार्डबॉय, धोबी, चपरासी और पत्रवाहक सहित 16 लोगों की नियुक्ति की गई। ये भर्तियां जेम पोर्टल या निर्धारित सरकारी प्रक्रिया के बिना की गईं, जिससे गंभीर वित्तीय और प्रशासनिक अनियमितता सामने आई है।
अनुबंधित कर्मचारी को हटाकर की गई मनमानी नियुक्ति
जांच में यह भी सामने आया कि फतेहगढ़ निवासी विनोद कुमार गुप्ता, जो पंप चालक के रूप में अनुबंधित थे, को अनुचित रूप से हटा दिया गया। उनकी जगह भिश्ती पद पर कार्यरत कर्मचारी संजय के पुत्र आर्यन को धोबी पद पर नियुक्त कर पंप चालक के रूप में तैनात कर दिया गया। इस पर विनोद ने शासन में शिकायत दर्ज कराई थी, जिसके बाद जांच शुरू हुई।
जांच में गैरजिम्मेदाराना जवाब
अपर निदेशक की रिपोर्ट में उल्लेख है कि तत्कालीन सीएमएस डॉ. प्रियदर्शी ने जांच के दौरान कोई ठोस साक्ष्य प्रस्तुत नहीं किए और कई प्रश्नों पर असंतोषजनक उत्तर दिए। रिपोर्ट शासन को भेज दी गई है, जिसके आधार पर दोनों दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की संभावना है।
वर्तमान सीएमएस का बयान
वर्तमान सीएमएस डॉ. जगमोहन शर्मा ने कहा, “मामला संज्ञान में है, फिलहाल हमें जांच रिपोर्ट प्राप्त नहीं हुई है। अवनी परिधि संस्था से नियुक्त कर्मचारियों का वेतन फिलहाल जारी नहीं किया जाएगा। उच्चाधिकारियों के निर्देशों का अनुपालन किया जाएगा।”
इस पूरे प्रकरण से स्वास्थ्य विभाग में भर्ती प्रक्रियाओं की पारदर्शिता पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। शासन अब इस मामले में दोषियों पर कार्रवाई की तैयारी कर रहा है।



